रियल मैड्रिड में शुरुआत और इंग्लैंड टीम में स्थान पर सवाल
रियल मैड्रिड जैसे चैंपियंस लीग विजेता क्लब में शामिल होना ट्रेंट अलेक्ज़ेंडर-अर्नोल्ड के लिए एक नई शुरुआत माना गया था, लेकिन लिवरपूल से जाने के सिर्फ तीन महीने बाद ही उनकी भूमिका को लेकर वही पुरानी बहसें उठ रही हैं। क्या वह डिफेंडर के बजाय मिडफ़ील्ड में ज्यादा प्रभावी होंगे? इंग्लैंड की टीम में उनका स्थान क्या होना चाहिए?
इन्हीं सवालों ने फिर से सिर उठाया जब इंग्लैंड के मैनेजर थॉमस ट्यूचेल ने अलेक्ज़ेंडर-अर्नोल्ड को अंडोरा और सर्बिया के खिलाफ विश्व कप क्वालीफायर में नहीं बुलाया। हालांकि इसे सीधे तौर पर टीम से बाहर करना नहीं कहा गया, बल्कि ट्यूचेल ने इसे “रियल मैड्रिड में खुद को स्थापित करने और अपनी लय खोजने का समय” बताया।
इंग्लैंड टीम में स्थिति
- ट्यूचेल ने माना कि अलेक्ज़ेंडर-अर्नोल्ड का पहले बुलाया जाना उनके लिए कठिन था, क्योंकि यह उनके करियर का पहला ट्रांसफर है और इससे व्यक्तिगत व पेशेवर चुनौतियाँ जुड़ी हैं।
- ट्यूचेल ने कहा, “वह इंग्लैंड टीम में प्रभाव डाल सकते हैं, लेकिन उन्हें अपनी डिफेंसिव जिम्मेदारी बेहद गंभीरता से लेनी होगी। एक गलती निर्णायक हो सकती है।”
- अलेक्ज़ेंडर-अर्नोल्ड की जगह पहले काइल वॉकर और कर्टिस जोन्स को प्राथमिकता दी गई थी।
मैदान पर प्रदर्शन
पिछले सत्र में अलेक्ज़ेंडर-अर्नोल्ड ने दिखाया कि उनकी आक्रामक खेल शैली डिफेंस की कमियों को संतुलित कर सकती है।
- पिछले पाँच प्रीमियर लीग सत्रों में केवल ब्रूनो फर्नांडीज़ ने उनसे ज्यादा expected assists दिए।
- विपक्षी डिफेंस में सबसे अधिक पास भी उन्होंने ही बनाए।
- जर्गेन क्लॉप और अर्ने स्लॉट ने उन्हें आगे और अंदर की ओर खेलाकर गोल अवसर बढ़ाए।
लेकिन नॉकआउट मैचों में सावधानी जरूरी है। ट्यूचेल का मानना है कि बड़े टूर्नामेंट में एक गलती पूरे अभियान को प्रभावित कर सकती है।
रियल मैड्रिड में स्थिति
सैंटियागो बर्नबेऊ में भी अलेक्ज़ेंडर-अर्नोल्ड को चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है:
- क्लब कैप्टन डानी कार्वाजल उनके सामने हैं।
- शुरुआत में उन्हें “संकोची” कहा गया और उनके निर्णयों की आलोचना हुई।
- क्लब वर्ल्ड कप के समय से ही यह चर्चा थी कि उनकी दीर्घकालिक भूमिका मिडफ़ील्ड में हो सकती है।
कोच ज़ाबी अलोंसो ने स्पष्ट किया कि दोनों खिलाड़ियों की प्रतिस्पर्धा टीम के स्तर को बढ़ाएगी और भूमिका का निर्धारण मैच के अनुसार होगा।
आगे की राह: क्या सुधार चाहिए?
अलेक्ज़ेंडर-अर्नोल्ड ने अपनी महत्वाकांक्षा व्यक्त की है कि वह बॉलोन डी’ओर जीतना चाहते हैं और खुद को नए संदर्भ में परखना चाहते हैं।
लेकिन इसके लिए उन्हें:
- डिफेंस में सुधार करना होगा ताकि कार्वाजल जैसी मजबूत प्रतिस्पर्धा का मुकाबला कर सकें।
- बड़ी प्रतियोगिताओं में जागरूकता और सतर्कता दिखानी होगी।
- टीम में स्थायी स्थान पाने के लिए लगातार बेहतर प्रदर्शन करना होगा।
भविष्य
इंग्लैंड टीम में रीस जेम्स, टिनो लिवरामेंटो और बेन व्हाइट जैसे खिलाड़ी भी उपलब्ध हैं, जिससे अलेक्ज़ेंडर-अर्नोल्ड की चुनौती और बढ़ गई है। रियल मैड्रिड में भी उन्हें अपने प्रदर्शन से टीम में खुद का स्थान पक्का करना होगा।
निष्कर्ष
ट्रेंट अलेक्ज़ेंडर-अर्नोल्ड की तकनीकी प्रतिभा निर्विवाद है, लेकिन बड़े मंच पर प्रभाव छोड़ने के लिए उन्हें अपने खेल में संतुलन लाना होगा। डिफेंस में स्थिरता और टीम की जरूरतों के अनुरूप भूमिका निभाना ही उनके भविष्य की कुंजी है। क्या वह अपने आलोचकों को गलत साबित कर पाएंगे, यह आने वाले मैचों में तय होगा।